University News: मगध यूनिवर्सिटी के वीसी फंसे नए विवाद में, एक्जाम कंट्रोलर ने लगाया धमकी देने का लगाया आरोप

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University News: भ्रष्टाचार के आरोपों में घिरे व विशेष निगरानी इकाई (एसवीयू) की जांच का सामना कर रहे मगध विश्वविद्यालय (एमयू) के प्रभारी कुलपति प्रो. राजेन्द्र प्रसाद (VC Rajendra Prasad) अब एक नए विवाद में घिर गए हैं। उनपर केस को प्रभावित करने के लिए विश्वविद्यालय (Magadh University) के पदाधिकारियों को उनके हक में काम करने की धमकी देने का आरोप लगा है। यह आरोप और किसी ने नहीं, बल्कि विश्वविद्यालय के परीक्षा नियंत्रक (Exam Controller) ने ही लगाया है।

मगध यूनिवर्सिटी के परीक्षा नियंत्रक ने कुलपति द्वारा फोन कर कागजात की मांग करने और नहीं देने पर धमकी देने का सनसनीखेज आरोप लगाया है। यूनिवर्सिटी के एक्जाम कंट्रोलर ने इसे लेकर राजभवन (Rajbhawan) और मुख्यमंत्री सचिवालय (Bihar CM) के साथ एसवीय (Special Vigilance Unit) के एसपी को पत्र लिखकर शिकायत की है। इस लिखित शिकायत के बाद अब माना जा रहा है कि गवाहों को धमकाने और केस को प्रभावित करने के इन आरोपों को लेकर एसवीयू उनपर कानूनी कार्रवाई कर सकती है, ताकि वे जांच को प्रभावित न कर पाएं। 

परीक्षा नियंत्रक का आरोप- व्हाट्सएप कॉल कर दी धमकी

मगध यूनिवर्सिटी के परीक्षा नियंत्रण ने अपनी शिकायत में आरोप लगाया है कि प्रभारी कुलपति प्रो. राजेन्द्र प्रसाद ने 4 दिसम्बर को सुबह 9.22 बजे उन्हें 7250225119 नम्बर से वाट्सएप कॉल किया। परीक्षा नियंत्रक ने कॉलबैक कर उनसे बात की। पुन: मोबाइल नंबर 7985772177 से कुलपति ने कॉल किया। फिर 5 दिसम्बर को मोबाइल नंबर  8429259854 से दोपहर 12.27 बजे फोन किया गया।

परीक्षा नियंत्रक का आरोप है कि पूर्व में प्रभारी कुलपति प्रो. राजेन्द्र प्रसाद ने वित्त संबंधित फाइलों को कुलपति का कार्यालय में जमा करने का आदेश दिया था, जबकि सभी फाइल उनके घर पर रहती थी। तलाशी के दौरान एसवीयू ने इन फाइलों को आवास से ही बरामद किया था। 

परीक्षा नियंत्रक का आरोप है कि 21 नवम्बर को वह परीक्षा के दौरान बेलागंज के महाबोधि कॉलेज और चाकंद के सीएस जनता कॉलेज का निरीक्षण करने गए थे। उसी दिन परीक्षा शाखा से लगभग 1.75  करोड़ रुपये का भुगतान फंड को इधर से उधर करते पुस्ताकालय के ई बुक की खरीदारी में किया गया। इसकी उन्हें सूचना तक नहीं दी गई।

आरोप: कागजात व बैंक का विवरण मांग रहे

परीक्षा नियंत्रक का आरोप है कि पूर्व में किए गए भुगतान के मुझसे कागजात मांगे जा रहे हैं। बैंक की विवरणी भी देने को कहा जा रहा है। कुलपति द्वारा कार्रवाई करने की धमकी भी दी जा रही है। इन परिस्थितियों में मेरी मानसिक शांति भंग हो रही है।

विगत 17 नवम्बर को एसवीयू ने करोड़ों रुपये के भ्रष्टाचार के आरोपों में प्रो. राजेन्द्र प्रसाद के तीन ठिकानों पर छापेमारी की थी। इस दौरान करीब एक करोड़ रुपये नगद के अलावा जमीन-जायदाद के कई कागजात हाथ लगे थे। छापेमारी के बाद कुलपति स्वास्थ्य कारणों से अवकाश पर हैं।