चिराग पासवान की NDA में एंट्री, अब क्या करेंगे उनके चाचा? BJP के सामने भी चुनौती

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लोजपा (रामविलास) के अध्यक्ष चिराग पासवान एनडीए में शामिल हो चुके हैं. बिहार की राजनीति के हिसाब से यह महत्वपूर्ण घटनाक्रम है. अब चिराग के चाचा पशुपति कुमार पारस को एनडीए खेमे में बनाए रखना भाजपा के लिए बड़ी चुनौती है. दिवंगत दलित नेता रामविलास पासवान के निधन के बाद चाचा-भतीजा के बीच लोजपा दो गुटों में बंट चुकी है. दोनों किसी भी हाल में समझौते को तैयार नहीं हैं.

साल 2024 के लोकसभा चुनावों के लिहाज से बीजेपी अपने गठबंधन एनडीए को मज़बूत करने में जुटी है.

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इस बीच एलजेपी (लोक जनशक्ति पार्टी) के नेता चिराग पासवान ने हाजीपुर सीट पर अपना दावा पेश कर दिया है. इससे उनके चाचा और हाजीपुर के सांसद पशुपति पारस भड़के हुए हैं.

आने वाले लोकसभा चुनावों को लेकर एक तरफ़ बेंगलुरु में विपक्षी दलों की मीटिंग चल रही है. वहीं इसी मक़सद से मंगलवार को दिल्ली में एनडीए की बैठक भी हो रही है.

रामविलास पासवान के नेतृत्व में लोजपा ने 2019 में छह लोकसभा सीट पर चुनाव लड़ा था और भाजपा के साथ सीट के बंटवारे के तहत उसे राज्यसभा की एक सीट भी मिली थी. उनके निधन के बाद लोजपा के छह में से पांच सांसदों के साथ दो वर्ष पहले चिराग के चाचा एवं केंद्रीय मंत्री पशुपति कुमार पारस ने अलग गुट बना लिया था.

अब चिराग चाहते हैं कि पार्टी में विभाजन के बावजूद भाजपा उनके साथ उसी व्यवस्था पर कायम रहे. जमुई सांसद चिराग 2024 में हाजीपुर सीट से लोकसभा चुनाव लड़ने का ऐलान भी कर चुके हैं. चिराग न सिर्फ अपने चाचा पशुपति पारस बल्कि उनके साथ गए चार सांसदों को भी सबक सिखाना चाह रहे हैं.

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हालांकि चिराग की इस शर्त से बीजेपी की परेशानी बढ़ सकती है क्योंकि एलजेपी अब दो गुटों में बँट चुकी है और इसके पाँच लोकसभा सांसद पशुपति कुमार पारस के साथ हैं. वहीं, अगले लोकसभा चुनाव के लिए चिराग पासवान गुट ने एलजेपी कोटे की सभी सीटों पर अपना दावा पेश कर दिया है.

दरअसल, राम विलास पासवान के निधन के बाद साल 2021 में लोक जनशक्ति पार्टी दो हिस्सों में टूट गई थी. इसका एक धड़ा ‘राष्ट्रीय लोक जनशक्ति पार्टी’ उनके भाई पशुपति कुमार पारस के साथ है, जबकि दूसरा धड़ा उनके बेटे चिराग पासवान के पास.

फ़िलहाल हाजीपुर सीट से रामविलास पासवान के भाई पशुपति पारस सांसद हैं. वो एनडीए के साथ भी हैं और केंद्रीय मंत्री भी है. वहीं चिराग पासवान ख़ुद बिहार की जमुई सीट से सांसद हैं.

हाजीपुर सीट से रामविलास पासवान लंबे समय तक सांसद रहे हैं. इस सीट पर चिराग के दावे के बाद पशुपति कुमार पारस ने भी तीखी प्रतिक्रिया दी है.

पत्रकारों से बातचीत में केंद्रीय मंत्री पशुपति पारस ने कहा है, “कौन है चिराग पासवान? मैं नहीं जानता चिराग पासवान कौन है. हाजीपुर के सांसद हम हैं. मैं वहां से चुनाव लड़ूंगा और जीतकर फिर से भारत सरकार का मंत्री बनूंगा. मेरा गठबंधन भाजपा के साथ है, चिराग पासवान से साथ नहीं.”

इन परिस्थितियों के बीच मंगलवार को दिल्ली में भतीजा चिराग पासवान और चाचा पशुपति पारस का आमना-सामना होने वाला है. मंगलवार को प्रस्तावित राजग की बैठक में दोनों नेता शामिल होने वाले हैं. इससे एक दिन पहले अमित शाह से चिराग की मुलाकात को चाचा-भतीजे के मतभेद सुलझाने की दिशा में अहम कड़ी माना जा रहा है.

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