सेंट्रल डेस्क। केंद्र की नरेंद्र मोदी कैबिनेट में निकट भविष्य में कई नए मंत्रियों की इंट्री होनेवाली है। चर्चा है कि जल्द ही मोदी कैबिनेट का विस्तार हो सकता है और ऐसे दो दर्जन से ज्यादा नेता इस बार केंद्रीय मंत्रिमंडल में प्रवेश पाने की दौड़ में शामिल हैं। केंद्रीय कैबिनेट में अभी कई जगह खाली हैं। कई मंत्री एक साथ दो या दो से ज्यादा विभागों की बागडोर संभाल रहे हैं।
केंद्र की मोदी सरकार के दूसरे कार्यकाल के लगभग डेढ़ वर्ष में अभी कोई कैबिनेट विस्तार नहीं हुआ है, लिहाजा यह पहला विस्तार होगा। ऐसे में सबकी नजर इस बात पर टिकी हैं कि यह संभावित विस्तार कबतक होता है और किन चेहरों को इस बार कैबिनेट में जगह मिलती है।
वैसे राजनीतिक हलकों में चल रही चर्चाओं और बीजेपी के अंदरूनी सूत्रों पर यकीन करें तो लगभग दो दर्जन से ज्यादा नेताओं के नाम कैबिनेट की दौड़ में शामिल हैं। कैबिनेट विस्तार की संभावनाओं के बीच कई बड़े नेताओं और पूर्व में राज्यों की कमान संभाल चुके पार्टी के कई दिग्गजों के भी मंत्रिमंडल में शामिल होने की संभावना जताई जा रही है।
चर्चा है कि असम के पूर्व मुख्यमंत्री सर्बानंद सोनोवाल, महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री नारायण राणे, बिहार के पूर्व उपमुख्यमंत्री सुशील मोदी की भी इस बार केंद्रीय कैबिनेट में इंट्री हो सकती है। बिहार से राजीव प्रताप रूडी और रामकृपाल यादव के नाम की भी चर्चा है। बीजेपी के बिहार प्रभारी भूपेंद्र यादव को भी कैबिनेट में शामिल किया जा सकता है। वहीं मोदी कैबिनेट में अगर जेडीयू भी शामिल होती है तो आरसीपी सिंह तथा ललन सिंह को जगह मिल सकती है।
उधर मध्यप्रदेश के पूर्व कांग्रेसी नेता ज्योतिरादित्य सिंधिया,
जो फिलहाल बीजेपी में शामिल हो चुके हैं, उनको भी मंत्रिमंडल में शामिल किया जा सकता है। वहीं पश्चिम बंगाल भाजपा के प्रभारी कैलाश विजयवर्गीय भी केंद्रीय कैबिनेट का हिस्सा बन सकते हैं।
इन दिग्गजों के साथ ही बीजेपी प्रवक्ता जफ़र इस्लाम, उत्तरप्रदेश के पीलीभीत से सांसद वरुण गांधी, राज्यसभा सांसद अनिल जैन, ओडिशा से सांसद अश्विनी वैष्णव, बीजेपी के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष बैजयंत जय पांडा, पूर्व रेल मंत्री दिनेश त्रिवेदी, उत्तरप्रदेश भाजपा के अध्यक्ष स्वतंत्र देव सिंह का नाम भी केंद्रीय कैबिनेट के संभावित नामों में शामिल माना जा रहा है।
माना जा रहा है कि उत्तरप्रदेश में चूंकि जल्द ही विधानसभा चुनाव होनेवाले हैं, इसलिए इस राज्य से कुछ ज्यादा चेहरों को मंत्रिमंडल में जगह मिल सकती है। चुनाव से पहले भाजपा उत्तरप्रदेश में अपने सहयोगी अपना दल को भी केंद्रीय कैबिनेट का हिस्सा बना सकती है। अगर ऐसा हुआ तो अपना दल की अनुप्रिया पटेल को केंद्रीय मंत्रिमंडल में जगह मिल जा सकती है।